चकराता और बुधेर फारेस्ट हाउस की यात्रा
घूमने-फिरने की जब भी बात आती है तो हर किसी के मन
में पहला ख्याल पहाड़ों की तरफ ही जाता है। मेरा भी इस वर्ष
सितम्बर में चकराता जाने का प्रोग्राम अचानक बना । इससे पहले भी एक- दो बार
प्रोग्राम बना था लेकिन सिरे नहीं चढ़ पाया । असल में चकराता हमारे अम्बाला से
ज्यादा दूर नहीं, मात्र 180 किलोमीटर दूर है ,तो यही सोचते थे अरे ये तो पास ही है
कभी भी चले जायेंगे ।लेकिन इस कभी भी के चक्कर में काफी समय निकल गया। इस बार 21
सितम्बर को मुहर्रम की छुट्टी थी और 23 को रविवार की ।22 की छुट्टी लेकर तीन दिन
का बढ़िया प्रोग्राम बना लिया । प्रोगाम के अनुसार हमें चकराता, उन्दावा वन , मोइला
टॉप और टाइगर फॉल देखना था । चूँकि हम दो ही लोग थे –मैं और मेरा मित्र सुखविंदर –तो
गाड़ी से चलने की बजे बाइक पर ही चलने का निश्चय किया । हमारी एक साथ यह चौथी बाइक
यात्रा थी ।सबसे पहले 2015 में चोपता –तुंगनाथ और देवरिया ताल गए थे , फिर 2016
में बाइक पर हिमाचल में पराशर लेक और बिजली महादेव की यात्रा की। 2017 में
कोटद्वार , लैंसडौन , द्वारीखाल और बर्सुड़ी की यात्रा की थी।